गांव-ढाणियों में बुखार ने पसारे पांव
ग्रामीणों ने फोगिंग व
साफ-सफाई करवाने की मांग
सीएचसी का आउटडोर 500 पार, चिकित्सा विभाग अलर्ट
गीतांजलि पोस्ट/कृष्ण कुमार वर्मा
मनोहरपुर:- कस्बे सहित आसपास के क्षेत्र में
पिछले चार पांच दिन से मौसम में परिवर्तन का असर लोगों के स्वास्थ्य पर दिखाई दे रहा है। लोग मौसमी बीमारियों से पीडित हो रहे हैं। इसमें बुखार के रोगी अधिक हैं, वहीं डेंगू का भय भी लोगो को सता रहा है। वही दिन के समय तेज धूप और रात के समय हल्की ठंड होने से बदन में दर्द और सुस्ती के साथ हल्की खांसी और जुकाम व गले में दर्द की शिकायत आ रही है। मौसमी बीमारियों के प्रकोप से सरकारी एवं निजी अस्पतालों में मरीजों की संख्या बढ़ी है। मौसमी वायरल के चलते लोगों के प्लेटलेट्स भी कम हो रहे हैं। जिससे मरीजों में कमजोरी व थकान भी देखी जा रही है। मनोहरपुर सीएचसी में प्रतिदिन करीब 500 से 800 का आउटडोर चल रहा है। इन दिनों ग्रामीण क्षेत्रो में मच्छरों का प्रकोप बढ़ा है, जबकि फोगिंग व जरूरी एहतियात अभी पुख्ता नही है।वहीं मौसम बदलाव के दौरान चिकित्सक भी लोगों को जरूरी एहतियात बरतने की सलाह दे रहे हैं।
गांव-ढाणियों में बढ़ रहे मरीज
ग्रामीणों ने बताया कि मनोहरपुर, बिशनगढ़, उदावाला, टोडी, नवलपुरा, मामटोरी, घासीपुरा, की ढाणियों सहित आस-पास के ग्रामीण क्षेत्र में इन दिनों डेंगू, बुखार तथा अन्य मौसमी बीमारियों का प्रकोप बना हुआ है। क्षेत्र मे कई लोग बुखार से पीडित है। इससे लोगों में मौसमी बीमारियों को लेकर भय व्याप्त है।
फोगिंग करवाने की मांग
स्थानीय ग्रामीण एडवोकेट उपेन्द्र कुमार आत्रेय, बसंत पंच, महिपाल सिंह गुर्जर, सूर्यकांत गुर्जर, रोहिताश कसाना, सम्पूर्णानंद शर्मा ने नपा से साफ-सफाई की व्यवस्था सुदृढ़ करने एवं चिकित्सा विभाग से क्षेत्र सहित आसपास के गांव-ढाणियों में फोगिंग करवाने की मांग की है। जिससे मच्छरों का बढ़ रहा प्रकोप कम हो सके एवं मौसमी बीमारियों से बचा जा सके।
शरीर की आंतरिक व बाह्य सुरक्षा बेहद जरूरी
सीएचसी के चिकित्सक दिलीप नारोलिया बताते है कि मौसमी बीमारियों का प्रकोप बढ़ने पर शरीर की आंतरिक व बाह्य सुरक्षा करना बेहद जरूरी है। हमें ऐसी चीजों का सेवन करना चाहिए, जो शरीर का इम्यून सिस्टम मजबूत करे। शरीर की बाह्य सुरक्षा के लिए हमेशा साफ-सुथरे कपड़े पहना चाहिए और रोज स्नान करना चाहिए। इसके अलावा अपने घर और आसपास की गंदगी को साफ करना जरुरी है। वही पानी भराव के स्थान का विशेष ध्यान दे। जिससे मच्छरों की संख्या में बढ़ोतरी न हो सके। अपने घर में हमेशा सफाई रखें और फिनाइल का पोछा जरूर लगाएं। तबीयत खराब होने पर तत्काल डॉक्टर से संपर्क करें, ताकि डॉक्टर की निगरानी में सही इलाज मिल सके।
वायरल की चपेट में आ रहे बच्चे
तापमान में हो रहे उतार चढ़ाव के कारण बच्चे मौसमी बुखार, सर्दी और खांसी की चपेट में आ रहे हैं। लगातार मौसमी बीमारी से पीड़ित बच्चों की संख्या में इजाफा हो रहा है। शिशु रोग विशेषज्ञ देवेंद्र शर्मा ने बताया कि प्रतिदिन लगभग 40 से 60 बच्चे इलाज के लिए आ रहे है। बाल रोग विशेषज्ञ डॉ शर्मा के अनुसार बच्चों को वायरल होने का मुख्य कारण मौसम में तेजी से होने वाला बदलाव है। बच्चों का शरीर इस तापमान के बदलाव को संभाल नहीं पाता है। रोग प्रतिरोधक क्षमता कम होने के कारण भी वे जल्दी मौसमी बीमारियों की चपेट में आ जाते हैं। उन्होंने गर्मी एवं उमस से बच्चों का ख्याल रखने एवं पानी अधिक पीने की सलाह दी है।
फैक्ट फाइल
तारीख मरीज
11 सितम्बर 800
12 सितम्बर 666
13 सितम्बर 547
इनका कहना है
मौसमी बीमारियों को लेकर चिकित्सा विभाग अलर्ट मोड़ पर काम कर रहा है।
डॉ विनोद शर्मा, ब्लॉक सीएमएचओ, शाहपुरा